नई दिल्ली सीबीएसई का पेपर बड़ी संख्या में व्हाट्सएप्प के ज़रिये लीक हो गया और इसकी कीमत रही 35 हज़ार रुपए से 1 हज़ार रुपए तक रही जैसे ही एक स्टूडेंट ने 35 हज़ार में पेपर ख़रीदा उसने अगले 5 स्टूडेंट्स को १०-१० हज़ार रुपए में आगे फॉरवर्ड कर दिये वहींं जिसने भी १० हज़ार में ये पेपर ख़रीदा उसने ५-५ हज़ार में फॉरवर्ड किया। ऐसे ही पांच हज़ार में पेपर खरीदने वाले ने हज़ार-हज़ार रुपए में पेपर फॉरवर्ड कर दिया इसी तरह सब के पास ये पेपर पहुंच गया और बड़ी संख्या में स्टूडेंट्स और टीचर्स तक पहुंच गया।
दिल्ली पुलिस की क्राइम ब्रांच का फोकस इस व्हाट्सअप की उस चेन पर ही है जिसके ज़रिये ये पेपर लीक होने लगा पुलिस के मुताबिक ये चेन काफी लम्बी है जिस वजह से इस चेन के मुख्य आरोपी तक पहुच पाने में समय लगेगा उसके बाद ही इस राज़ से पर्दा उठ सकेगा की इतनी सुरक्षा के बावजूद पेपर कैसे लीक हुआ इसमें ज़्यादातर स्टूडेंट्स है जिस वजह से समझदारी से पूछताछ करके असली आरोपी तक पहुंचने की कोशिश की जा रही है जिनसे पुछताछ चल रही है इन टीचर और स्टूडेंट ने सिर्फ फॉरवर्ड किया है। हम इसकी तहकीकात कर रहे है थोड़ा समय लगेगा लेकिन हम मुजरिम तक पहुंच जाएँगे। स्टूडेंट्स और उनके परिजन काफी गुस्से में है और जानना चाहते है आखिर इतनी बड़ी लापर्वाही कैसे हो गई वही कल रात क्राइम ब्रांच ने सीबीएसई के १२वे अर्थशास्त्र का पेपर जहा से लीक हुआ था

उसके 12 लोगोंं तक पहुंच गई है और उनको हिरासत में लेकर उनसे पूछताछ की जा रही है उनमे कई टीचर भी शामिल है पुलिस अधिकारी ने कहा है की टीचर ने बयांन में अपनी सफाई देते हुए कहा है की ये पेपर मुझे एक स्टूडेंट के ज़रिये मिला था तो मेने सोचा अपने स्टूडेंट्स को भी देदू ताकि उनको परीक्षा में आसानी हो न ही मेने पेपर ख़रीदा न ही बेचा। पुलिस कर्मियों ने ये भी कहा है की हम तहकीकात कर रहे हैंं जल्दी ही आरोपी मिल जाएंंगे।







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