1 दिसम्बर, 2019, शबाना बानो
खाने के स्वाद में प्याज की कमी और दिनों तक लगेगी। प्याज की लगातार बढ़ती कीमतों से फिलहाल राहत मिलने की उम्मीद नहीं है। जानकारों का कहना है कि 15 जनवरी के बाद नासिक से प्याज की नई फसल आने के बाद ही प्याज के रेट में कुछ कमी आएगी । फिलहाल अलवर से अभी जरूरत पूरी हो रही है। लेकिन कुछ दिनों के बाद अलवर का भी स्टॉक खत्म होने को है । उसके बाद प्याज की रेट में बढ़ोतरी होने की आशंका है । जिसे लोगों की और परेशानी बढ़ेगी। देश की राजधानी दिल्ली में भी लोग प्याज के बढ़े दाम की वजह से परेशान हैं. आजादपुर मंडी में गुरुवार को प्याज की होलसेल कीमत 35 से 48 रुपये प्रति किलो रही. वहीं रिटेल मार्केट में 50 से 80 रुपए के बीच बिक रहा है.जहां थोक व्यापारियों से खरीददारी करने वाले रिटेल व्यापारी कम प्याज खरीद रहे हैं, तो वहीं आम ग्राहक रिटेल व्यापारियों से जरूरत के अनुसार ही प्याज लेकर जा रहे हैं. आज की बात करें तो आजादपुर मंडी में प्याज का थोक रेट 30 से लेकर 48 रुपए तक रहा और वहीं प्याज रिटेल मार्केट में जाकर 50 से 80 रुपए के बीच बिक रहा है.
व्यापारियों का कहना है कि प्याज की कीमतों में आई तेजी का कारण लगातार हो रही बारिश है, जिसकी वजह से नई फसल को नुकसान पहुंच रहा है क्योंकि नई फसल नहीं आ रही है. इसलिए जो पुराना प्याज है उसके दाम बढ़ रहे हैं, थोक व्यापारियों ने यह भी साफ किया है कि प्याज के दाम में वृद्धि के पीछे जमाखोरी का कारण नहीं है.
प्याज की कीमतों पर एक नजर
नासिक/मुम्बई – महाराष्ट्र के कई जिलों में आई बाढ़ का असर अब मुम्बई और आस पास के इलाकों में पड़ रहा है. मुम्बई में प्याज की कीमत रुलाने लगी हैं. 10 दिन पहले जिस प्याज के दाम 20 से 25 रुपए किलो थे वो अब 60 से 70 रुपए किलो बिक रहा है. बारिश के वजह से दूसरे राज्य के प्याज महाराष्ट्र में नहीं आ पाए है. महाराष्ट्र में भी बारिश, नमी की वजह से फसल खराब हुई है. एक महीने तक राज्य के प्याज पर ही लोगों को निर्भर रहना होगा.
जयपुर – देश भर में भारी बारिश के वजह से प्याज की फसल को हुए नुकसान के कारण मंडियों में प्याज की आवक कम हो गई जिसकी वजह से प्याज के भाव बढ़ते जा रहे है. जयपुर में कुछ दिन पहले तक तीस से 35 रुपए प्रति किलो की दर से बिक रहा प्याज अब 60रुपए को पार कर गया है. एक तरफ जहां जयपुर की सब्जी मंडियों में खरीद के लिए आ रहे लोग भी प्याज के दामों में आये उछाल से परेशान हैं वहीं दूसरी तरफ विक्रेता मानते हैं कि बिक्री कम हो गई है और अभी दाम में राहत के आसार नहीं है.
अलवर – अलवर मंदी में इन दिनों प्याज के खुदरा भाव करीब 60 रु किलो चल रहे हैं, अलवर की लाल प्याज देश के अनेक राज्यों की आपूर्ति करती है. अलवर के प्याज की फसल साल में दो बार आती है, अब अक्टूबर के अंत मे फसल आनी है उसके बाद शायद कुछ प्याज के भाव मे नरमी आए.
रतलाम – रतलाम में हुई भारी बारिश और बाढ़ के बाद लहसुन प्याज और सब्जियों के दाम में भारी उछाल आया है. आज कल मार्केट में लहसुन 200 रुपए किलो तो प्याज 50 से 60 रुपए किलो बिक रहा है. इसके साथ ही सब्जियों में भी भारी उछाल है जो सब्जी 20 रुपए किलो बिक रही थी उनके दाम अब 60 से 100 रुपए किलो तक पहुंच गए हैं. दुकानदारोंका कहना है जिले में ज्यादा बारिश होने से लहसुन ओर प्याज़ के दामों में काफ़ी उछाल आया है. उनका कहना है कि इनकी आवक भी कम है और किसानों के पास एक-दो बोरी बचा हुआ माल ही मार्केट में आ रहा है. नई फसले आने में महीनों का समय लगेगा तबतक दाम और बढ़ने की संभावना है.
पटना – पटना का मिठापुर सब्जी मंडी में खरीददार के अलावा थोक विक्रेता परेशान हैं. पटना में प्याज का खुदरा दाम 60 रूपये प्रति किलो चल रहा है. बिहार प्याज के मामले में एमपी, महाराष्ट्र और साउथ के राज्यों पर निर्भर रहता है. इसबार इन राज्यों में बाढ़ की विभीषिका ने प्याज की फसल को नष्ट कर दिया है. स्थिति यह है कि एमपी में प्याज मिल ही नहीं रहा है और नासिक (महाराष्ट्र) में भी इसबार बाढ़ से नया प्याज नीं निकल पाया, पुराने स्टाक ने दाम आसमान चढ़ा दिया.
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